SANDESH QALAM

क़लम के साथ समझौता नहीं , मुझे लिखना है

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Thursday 16 January 2020

अधिकार की लड़ाई में झुलसता भारत

भारत में आजकल नागरिक संशोधन विधेयक के विरोध में संपूर्ण प्रांतों में प्रदर्शन हो रहा है ,और यह प्रदर्शन आसाम से शुरू होते हुए लगभग भारत के सभी राज्यों में इस की झलक देखने को मिल रही है ,ऐसा नही है की यह विरोधी लहर केवल किसी विशेष समुदायिक है । अगर ऐसा होता तो देश के बड़े बड़े नामचीन विश्वविद्यालयों से छात्रों द्वारा निकाली गई शांति मार्च ,एक जन आंदोलन का रूप धारण करते जा रहा है ,यह और बात है कि केंद्रीय सरकार सत्ता एवं प्रशासनिक असर के बल पर उन हज़ारों प्रदर्शनकारियों की ज़बान पर खामोशी के ताले लगाने में विफल साबित हो रही है ।

credit: third party image reference

मीडिया और प्रदर्शनकारी

भारतीय मीडिया की बात की जाए तो इस सत्य से इनकार कोई भी व्यक्ति नही कर सकता है ,जिस प्रकार झूठी और खबरों को तोड़ मरोड़ कर देश के सामने खबरें परोसने का कार्य कर रहा है उस से सामाजिक एवं एकता पर सीधा प्रहार है , मीडिया अपना मर्यादा और विश्वसनीयता को खोता जा रहा और इसका दुष्य परिणाम धार्मिक घृणा और नफरत की दुकान चलाने में व्यस्त है ,यह बात भी किसी से छुपी नही है कि विकाउ मीडिया वही परोसता है जो सरकार चाहती है ,इस से जग जाहिर है कि मीडिया कर्मी अपनी पत्रकारिता के असली वजूद को सरकारी तन्त्रों के हाथों बिक कर अपनी इज़्ज़त की नीलामी स्वयं कर रहा है

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हर सांस पे है मौत का पहरा लगा है

जिस देश का संविधान अपने नागरिकों उनके अधिकार की पैरवी करता हो वहां धर्म,जाती,भाषा,संस्कृति की आज़ादी उनके मौलिक अधिकारों में शामिल हो ,वहां बोलने की आज़ादी ,प्रश्न करने की आज़ादी ,प्रदर्शन की आज़ादी पर सरकार अपने बल का प्रयोग कर बर्बरता दिखाती हो वहां कुछ पूछने पर जेल में कई धाराओं के साथ जेल की सलाखों में कैद कर दिया जाता हो ,जहां प्रशासन स्वयम उपद्रव कर मासूम निर्दोषों को बुरी तरह पीटती हों वहां इंसाफ की आवाज़ दम तोड़ देगी ,वहां अदालत से न्याय की आस फ़ुज़ूल है ! छात्र छात्राओं को उपद्रवी कह कर अस्पताल तक पहुंचाया जाता हो ,ऐसे इंसाफ करेगा कौन और किस से न्याय की गोहार लगायेंगे आम नागरिक ,हमें याद रखना होगा कि जुल्म जब हद से गुजरता है तो विश्व का कोई भी कोना हो इंकलाब बरपा होता है ,और इंकलाब हमेशा ऐतिहासिक बदलाव के साथ आता है जो इतिहास के पन्नों में कैद होजाता है।

शमीम कमर रेयाज़ी

स्वतन्त्र लेखक ,समाजसेवी

Email: contactusqrm@gmail.com

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